वैशाली की नगरवधू, आचार्य चतुरसेन शास्त्री द्वारा रचित एक हिन्दी उपन्यास है जिसकी गणना हिन्दी के सर्वश्रेष्ठ उपन्यासों में की जाती है। यह उपन्यास दो भागों में हैं, जिसके प्रथम संस्करण दिल्ली से क्रमशः 1948 तथा 1949 ई. में प्रकाशित हुए। इस उपन्यास के सम्बन्ध में इसके आचार्य चतुरसेन जी ने कहा था, ‘मैं अब तक की सारी रचनाओं को रद्द करता हूँ और ‘वैशाली की नगरवधू’ को अपनी एकमात्र रचना घोषित करता हूँ।’
इसमें भारतीय जीवन का एक जीता-जागता चित्र अंकित हैं। इस उपन्यास का कथात्मक परिवेश ऐतिहासिक तथा सांस्कृतिक है। इसकी कहानी बौद्ध काल से सम्बद्ध है और इसमें तत्कालीन लिच्छिवि संघ की राजधानी वैशाली की पुरावधू ‘आम्रपाली’ को प्रधान चरित्र के रूप में अवतरित करते हुए उस युग के हास-विलासपूर्ण सांस्कृतिक वातावरण को अंकित करने हुए चेष्टा की गयी है।
उपन्यास में घटनाओं की प्रधानता है किन्तु उनका संघटन सतर्कतापूर्वक किया गया है और बौद्धकालीन सामग्री के विभिन्न स्रोतों का उपयोग करते हुए उन्हें एक सीमा तक प्रामाणिक एवं प्रभावोत्पादक बनाने की चेष्टा की गयी है। उपन्यास की भाषा में ऐतिहासिक वातावरण का निर्माण करने के लिए बहुत से पुराकालीन शब्दों का उपयोग किया गया है। कुल मिलाकर चतुरसेन की यह कृति हिन्दी के ऐतिहासिक उपन्यासों में उल्लेखनीय है।
इसमें भारतीय जीवन का एक जीता-जागता चित्र अंकित हैं। इस उपन्यास का कथात्मक परिवेश ऐतिहासिक तथा सांस्कृतिक है। इसकी कहानी बौद्ध काल से सम्बद्ध है और इसमें तत्कालीन लिच्छिवि संघ की राजधानी वैशाली की पुरावधू ‘आम्रपाली’ को प्रधान चरित्र के रूप में अवतरित करते हुए उस युग के हास-विलासपूर्ण सांस्कृतिक वातावरण को अंकित करने हुए चेष्टा की गयी है।
उपन्यास में घटनाओं की प्रधानता है किन्तु उनका संघटन सतर्कतापूर्वक किया गया है और बौद्धकालीन सामग्री के विभिन्न स्रोतों का उपयोग करते हुए उन्हें एक सीमा तक प्रामाणिक एवं प्रभावोत्पादक बनाने की चेष्टा की गयी है। उपन्यास की भाषा में ऐतिहासिक वातावरण का निर्माण करने के लिए बहुत से पुराकालीन शब्दों का उपयोग किया गया है। कुल मिलाकर चतुरसेन की यह कृति हिन्दी के ऐतिहासिक उपन्यासों में उल्लेखनीय है।
Língua Hindi ● Formato EPUB ● ISBN 9789354621765 ● Tamanho do arquivo 0.9 MB ● Editora True Sign Publishing House ● Publicado 2023 ● Carregável 24 meses ● Moeda EUR ● ID 9024235 ● Proteção contra cópia Adobe DRM
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